ईवीएम में रंगीन फोटो, मोबाइल की सुविधा और 17 नई पहलें: बिहार चुनाव में नया अध्याय
पटना: Bihar विधानसभा चुनाव से पहले चुनाव आयोग (ECI) ने चुनाव प्रक्रिया को और पारदर्शी, सरल और टेक्नोलॉजी-प्रधान बनाने के लिए 17 नई पहल की घोषणा की है। चुनाव आयोग ने बताया कि इन पहलों को पहले बिहार में लागू किया जाएगा और भविष्य में पूरे देश में इन्हें अपनाया जा सकता है।
मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने कहा कि ये सुधार न सिर्फ चुनाव प्रक्रिया को मजबूत करेंगे बल्कि मतदाताओं के विश्वास को भी बढ़ाएंगे। बिहार इन पहलों के लिए एक तरह से “मॉडल राज्य” होगा।
Chief Election Commissioner Gyanesh Kumar on 𝐁𝐢𝐡𝐚𝐫 𝐅𝐢𝐫𝐬𝐭 𝐈𝐧𝐢𝐭𝐢𝐚𝐭𝐢𝐯𝐞𝐬:
“Some of the initiatives starting from Bihar include, first and foremost, the training of booth-level agents. For the first time, the Election Commission conducted such training, and all… pic.twitter.com/b9T72AuUDE
— All India Radio News (@airnewsalerts) October 5, 2025
बिहार चुनाव 2025 की 17 नई पहल
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सभी मतदान केंद्रों पर 100% वेबकास्टिंग — मतदान पूरी तरह से लाइव दिखाया जाएगा।
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ईवीएम पर उम्मीदवारों की रंगीन तस्वीरें — पहचान आसान बनाने के लिए।
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बढ़ी हुई फॉन्ट साइज — ईवीएम पर नंबर और नाम अब बड़े अक्षरों में।
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बड़े फॉन्ट वाले मतदाता पर्चे — मतदाता आसानी से अपने बूथ ढूंढ सकेंगे।
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मोबाइल फोन अनुमति — मतदाता मोबाइल फोन बूथ के बाहरी क्षेत्र तक ले जा सकते हैं।
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चुनाव कर्मियों के लिए फोटो पहचान — बूथ स्तर के अधिकारियों की पहचान आसान होगी।
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मॉक पोल में भागीदारी — बूथ स्तर के एजेंट (BLA) मतदान से पहले मॉक पोल में हिस्सा लेंगे।
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Form 17C का वितरण BLAs को — मतदान के बाद सत्यापन के लिए।
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100 मीटर के भीतर पार्टी एजेंट बूथ — ज्यादा पारदर्शिता और निगरानी।
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ईपीआईसी (मतदाता पहचान पत्र) तेज़ वितरण — नए मतदाता को 15 दिनों के भीतर कार्ड।
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प्रति बूथ 1200 मतदाता की सीमा — भीड़ कम करने के लिए।
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अतिरिक्त मतदान केंद्र — खासकर भीड़ वाले और शहरी इलाके में।
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ECI-NET डिजिटल प्लेटफॉर्म — सारे चुनाव एप्स और सेवाओं का एकीकृत प्लेटफॉर्म।
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ERO और AERO के लिए मानदेय — पहली बार वित्तीय प्रोत्साहन।
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चुनाव स्टाफ के लिए अधिक भुगतान — BLO, सुरक्षा कर्मी और गिनती कर्मियों का मानदेय बढ़ाया गया।
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मतगणना सुधार — पोस्टल बैलेट की गिनती पहले, ईवीएम परिणाम बाद में।
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मतदाता सूची शुद्धिकरण (SIR) — डुप्लीकेट और गलत प्रविष्टियों को हटाकर सूची को साफ़ किया गया।
साफ़ और भरोसेमंद वोटिंग
बिहार में मतदाता सूची को 22 साल बाद “शुद्ध” किया गया है। इस दौरान लगभग 3.6 लाख मतदाताओं ने खुद को सूची से हटाया। चुनाव आयोग ने इसे देशभर के लिए मॉडल अभ्यास बताया।
ये पहलें तकनीकी उन्नति, वेबकास्टिंग और तेज़ आईडी वितरण जैसी सुविधाओं के साथ बिहार चुनाव को स्मार्ट, सुरक्षित और पारदर्शी बनाने में मदद करेंगी।
भविष्य के लिए मॉडल
दो दिनों की बैठकों में चुनाव आयोग की टीम ने राजनीतिक पार्टियों, जिला अधिकारियों, सुरक्षा बलों और अन्य संबंधित अधिकारियों के साथ विस्तृत विचार-विमर्श किया। आयोग का कहना है कि ये 17 नई पहलें न केवल बिहार में चुनाव प्रक्रिया को बदलेंगी बल्कि पूरे देश के चुनावों के लिए नया मानक तय करेंगी।
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 ऐसे बदलावों के साथ देश में लोकतंत्र को और मजबूत बनाने का पहला बड़ा कदम बनेंगे।